The smart Trick of Shodashi That Nobody is Discussing
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In another depiction of hers, she's revealed as a sixteen-year-previous young and sweet girl decorated with jewels with a stunning shimmer and also a crescent moon adorned around her head. She's sitting around the corpses of Shiva, Vishnu, and Brahma.
ह्रीं श्रीं क्लीं परापरे त्रिपुरे सर्वमीप्सितं साधय स्वाहा॥
A novel function from the temple is the fact that souls from any faith can and do supply puja to Sri Maa. Uniquely, the temple management comprises a board of devotees from various religions and cultures.
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देवीं मन्त्रमयीं नौमि मातृकापीठरूपिणीम् ॥१॥
चक्रेऽन्तर्दश-कोणकेऽति-विमले नाम्ना च रक्षा-करे ।
The Mantra, On the flip side, is really a sonic illustration of your Goddess, encapsulating her essence via sacred syllables. Reciting her Mantra is believed to invoke her divine presence and bestow blessings.
लक्ष्या मूलत्रिकोणे गुरुवरकरुणालेशतः कामपीठे
भगवान् शिव ने कहा — ‘कार्तिकेय। तुमने एक अत्यन्त रहस्य का प्रश्न पूछा है और मैं प्रेम वश तुम्हें यह अवश्य ही बताऊंगा। जो सत् रज एवं तम, भूत-प्रेत, मनुष्य, प्राणी हैं, वे सब इस प्रकृति से उत्पन्न हुए हैं। वही पराशक्ति “महात्रिपुर सुन्दरी” है, वही सारे चराचर संसार को उत्पन्न करती है, पालती है और नाश करती है, वही शक्ति इच्छा ज्ञान, क्रिया शक्ति और ब्रह्मा, Shodashi विष्णु, शिव रूप वाली है, वही त्रिशक्ति के रूप में सृष्टि, स्थिति और विनाशिनी है, ब्रह्मा रूप में वह इस चराचर जगत की सृष्टि करती है।
She is depicted to be a sixteen-year-previous girl that has a dusky, crimson, or gold complexion and a 3rd eye on her forehead. She is amongst the 10 Mahavidyas and is particularly revered for her elegance and electric power.
यह देवी अत्यंत सुन्दर रूप वाली सोलह वर्षीय युवती के रूप में विद्यमान हैं। जो तीनों लोकों (स्वर्ग, पाताल तथा पृथ्वी) में सर्वाधिक सुन्दर, मनोहर, चिर यौवन वाली हैं। जो आज भी यौवनावस्था धारण किये हुए है, तथा सोलह कला से पूर्ण सम्पन्न है। सोलह अंक जोकि पूर्णतः का प्रतीक है। सोलह की संख्या में प्रत्येक तत्व पूर्ण माना जाता हैं।
The essence of these activities lies within the unity and shared devotion they encourage, transcending person worship to produce a collective spiritual atmosphere.
षोडशी महाविद्या : पढ़िये त्रिपुरसुंदरी स्तोत्र संस्कृत में – shodashi stotram
मन्त्रिण्या मेचकाङ्ग्या कुचभरनतया कोलमुख्या च सार्धं